इस्लामाबाद।
पनामा पेपर लीक मामले में पाकिस्तानी प्रधानमंत्री नवाज शरीफ को करारा झटका लगा है। पाकिस्तान के सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में संयुक्त जांच दल (जेआईटी) गठित कर शरीफ और उनके परिजनों पर लगे आरोपों की जांच करवाई थी। इस जांच दल ने अपनी अंतिम जांच रिपोर्ट सोमवाार को सुप्रीम कोर्ट में जमा की। रिपोर्ट में शरीफ परिवार के पास घोषित आय से ज्यादा संपत्ति होने की जानकारी दी गई है। इस छह सदस्यीय जेआईटी ने शरीफ व उनके परिजन के खिलाफ भ्रष्टाचार का केस चलाने की सिफारिश की है।
अपनी रिपोर्ट में जेआईटी ने कहा कि शरीफ, उनके बेटों हसन नवाज और हुसैन नवाज, बेटी मरियम नवाज के खिलाफ राष्ट्रीय जवाबदेही ब्यूरो अध्यादेश-1999 की धारा 9 के तहत भ्रष्टाचार का केस चलाया जाना चाहिए। रिपोर्ट के अनुसार, इन सभी के पास आय के ज्ञात स्रोत से अधिक संपत्ति पाई गई है। अब इस मामले में सुप्रीम कोर्ट की तीन सदस्यीय पीठ जांच दल के निष्कर्षो पर सोमवार (17 जुलाई) को सुनवाई करेगी। इस पीठ में जस्टिस अजमत सईद, जस्टिस इजाजुल अहसान और जस्टिस एजाज अफजल हैं।
रिपोर्ट में कहा गया है कि पाकिस्तान में शरीफ परिवार से जुड़ी कंपनियों में भी गड़बड़ी पाई गई है। सऊदी अरब, ब्रिटेन और संयुक्त अरब अमीरात में गठित विभिन्न कंपनियों की ओर से शरीफ और उनके छोटे बेटे के बीच कर्ज और उपहार के रूप में भारी-भरकम धन का अनियमित आदान-प्रदान हुआ है। इस बीच, विपक्षी दल तहरीक-ए-इंसाफ के प्रमुख इमरान खान ने शरीफ का इस्तीफा मांगा है।
बता दें कि 2016 में हुए पनामा पेपर लीक में प्रधानमंत्री की तीनों संतानों के नाम पर खनन कंपनियां और अन्य संपत्ति होने की बात सामने आई थी। मामला सामने आने के बाद सुप्रीम कोर्ट ने इसी साल मई में जेआईटी का गठन किया था। जांच दल ने अपनी जांच में कई वर्तमान और पूर्व अधिकारियों से बात की है, उनके बयान दर्ज किए हैं।